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फोटो स्रोत: mbs.news |
जर्मनी के कुख्यात तानाशाह अडोल्फ़ हिटलर के बारे में तो आप जानते ही होंगे। उन्हें दूसरा विश्वयुद्घ करवाने और पूरी दुनिया में लाखों लोगों की मौत का जिम्मेदार माना जाता है।
कहते हैं कि हिटलर एक समय पर पूरी दुनिया पर राज करना चाहता था। वह जर्मनी में चुनाव जीतकर ही सत्ता में आया लेकिन बाद में तानाशाह बन गया।
लेकिन आज हम जिस अडोल्फ़ हिटलर की बात करने जा रहे हैं वह जर्मनी का हिटलर नहीं बल्कि अफ्रीकी देश नामीबिया के अडोल्फ़ हिटलर हैं।
दरअसल दक्षिण अफ्रीकी देश नामीबिया में ओम्पुंजा विधानसभा क्षेत्र में म्यूनिसिपलिटी चुनावों में अडोल्फ़ हिटलर नाम के एक शख्स ने जीत दर्ज की है। उन्हें इन चुनावों में लगभग 85 प्रतिशत मतों से जीतने के बाद काउंसिलर चुना गया है।
54 साल के हिटलर नामीबिया में सत्ताधारी पार्टी स्वापो पार्टी से जुड़े हुए हैं।
अपनी जीत के बाद जर्मनी के समाचार पत्र ‘बिल्ड’ से बात करते हुए हिटलर ने कहा कि उनका नाजी विचारधारा से कोई लेना देना नहीं है और न ही उनका दुनिया पर राज करने का कोई इरादा है।
बचपन में सामान्य नाम लगता था हिटलर:
नामीबिया साल 1884 से 1915 तक जर्मनी का उपनिवेश हुआ करता था। यही कारण है कि वहाँ हिटलर नाम होना असामान्य बात नहीं है। इसीलिए हिटलर के पिता ने उनका नाम जर्मनी के नेता अडोल्फ़ हिटलर के नाम पर रख दिया था। हिटलर का कहना है कि बचपन में नहीं पता था कि इस नाम का क्या मतलब है।
हिटलर कहते हैं कि जब मैं बड़ा हुआ तो मुझे समझ आया कि यह व्यक्ति पूरी दुनिया पर राज करना चाहता था। अब मेरा इन सब से कोई लेना देना नहीं है। मेरा यह नाम होने का यह मतलब नहीं है कि मैं ओशाना पर राज करना चाहता हूँ। ओशाना वह राज्य है जहां ओम्पुंजा विधानसभा स्थित है।
हिटलर ने यह भी बताया कि उनका नाम बदलने का कोई इरादा नहीं है। क्योंकि उनके सभी दस्तावेजों में यही नाम दर्ज है। जनता में उन्हे अडोल्फ़ उनोना के नाम से जाना जाता है।